सिडकुल सुमन नगर नहर पटरी मार्ग गढ्डों में तब्दील: खस्ताहाल सड़क हादसों को न्योता कार्यवाहक विभाग की लापरवाही पर उठे सवाल – आखिर क्यों सड़क पर नहीं खर्च हो रही फूटी कौड़ी? ग्रामीणों की गुहार – हादसे से पहले सुधरे हालात, वरना बढ़ेगी मुश्किलें

इन्तजार रजा हरिद्वार- सिडकुल सुमन नगर नहर पटरी मार्ग गढ्डों में तब्दील: खस्ताहाल सड़क हादसों को न्योता
कार्यवाहक विभाग की लापरवाही पर उठे सवाल – आखिर क्यों सड़क पर नहीं खर्च हो रही फूटी कौड़ी?
ग्रामीणों की गुहार – हादसे से पहले सुधरे हालात, वरना बढ़ेगी मुश्किलें
बहादराबाद (हरिद्वार)। हरिद्वार जनपद के बहादराबाद क्षेत्र में स्थित सिडकुल सुमन नगर नहर पटरी मार्ग इन दिनों अपनी बदहाल स्थिति के कारण लोगों के लिए सिरदर्द बन गया है। करीब दो किलोमीटर लंबा यह मार्ग बरसात के बाद पूरी तरह गड्ढों में तब्दील हो चुका है। सड़क की दुर्दशा देखकर लगता है मानो यह कोई खेत का उबड़-खाबड़ रास्ता हो। स्थानीय लोग कहते हैं कि यह मार्ग किसी तो कार्यवाहक विभाग की जिम्मेदारी में आता होगा, लेकिन कोई भी विभाग इस पर फूटी कौड़ी खर्च करने को तैयार नहीं दिख रहा। सवाल यह है कि आखिर इतनी अहम सड़क को अनदेखा क्यों किया जा रहा है?
सड़क पर गड्ढों की कतार, नहर का कटाव – रोजाना मंडराता खतरा
सिडकुल से सुमन नगर की ओर जाने वाली इस नहर पटरी सड़क पर जगह-जगह गहरे गड्ढे और कटे किनारे नजर आते हैं। बरसात का पानी भर जाने से बाइक और स्कूटी सवार आए दिन गिरकर घायल हो जाते हैं।
गांव सलेमपुर दादूपुर निवासी अब्दुल मलिक बताते हैं – हरिद्वार हरियाणा पंजाब उत्तर प्रदेश और करीब 50 गांव सहित “गढ़मीरपुर, राजपुर, सुमन नगर और सलेमपुर 2 के लोगों का यही मुख्य मार्ग है। सुबह-शाम बच्चे साइकिल और स्कूटी से स्कूल जाते हैं। गड्ढों और धंसी सड़क के कारण कई बार यूनिफार्म खराब हो जाती है, जबकि हादसे का डर अलग से बना रहता है।”
स्थानीय लोगों का कहना है कि नहर के किनारे भी कटाव हो रहा है। सड़क और नहर के बीच की यह खतरनाक स्थिति कभी भी बड़ा हादसा करा सकती है। भारी-भरकम ट्रक और ट्रैक्टर गुजरने के दौरान सड़क धंस जाती है और लंबे समय तक जाम की स्थिति बनी रहती है।
कार्यवाहक विभाग की चुप्पी – क्या हादसे किसी बड़े का इंतजार?
लोगों का आरोप है कि सड़क की मरम्मत को लेकर कार्यवाहक विभाग से कई बार शिकायतें दर्ज कराई गईं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। न तो दुरुस्तीकरण शुरू हुआ और न ही बजट का कोई संकेत मिला। ग्रामीण पूछते हैं कि क्या विभाग किसी बड़े हादसे का इंतजार कर रहा है?
यह मार्ग न केवल ग्रामीण क्षेत्रों को औद्योगिक क्षेत्र सिडकुल से जोड़ता है, बल्कि हरियाणा-पंजाब से आने-जाने वाले भारी वाहनों का भी मुख्य रास्ता है। ऐसे में इसकी अनदेखी सीधे-सीधे आम जनता की परेशानी को बढ़ा रही है।
श्रद्धालु और राहगीर दोनों परेशान
इस नहर पटरी मार्ग से गुजरने वाले सिर्फ स्थानीय ही नहीं बल्कि धार्मिक स्थलों की ओर जाने वाले श्रद्धालु भी परेशान हैं। बरसात में गड्ढों में भरे पानी से पैदल चलना मुश्किल हो जाता है। कई बार महिलाएं और बुजुर्ग श्रद्धालु फिसलकर घायल हो चुके हैं।
रात में तो स्थिति और भी भयावह हो जाती है। बिना स्ट्रीट लाइट के गहरे गड्ढों और टूटी सड़क का अंदाजा लगाना लगभग नामुमकिन हो जाता है। इससे दुर्घटनाओं का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।
जनता की गुहार – जल्द मिले राहत
क्षैतिज लोगों ने कहा कि – “सड़क की मरम्मत के नाम पर कार्यवाहक विभाग शायद सिर्फ कागजों पर काम कर रहा है। जमीनी स्तर पर कोई सुधार नहीं हुआ है। हम विभाग और प्रशासन से गुहार लगाते हैं कि जल्द से जल्द इस सड़क की मरम्मत कराई जाए।”
लोगों ने साफ कहा कि वे किसी टकराव की राह नहीं अपनाना चाहते, लेकिन अब धैर्य टूटता जा रहा है। समय रहते विभाग ने ध्यान नहीं दिया, तो यह मार्ग किसी बड़ी दुर्घटना का कारण बन सकता है।
सवालों के घेरे में कार्यवाहक विभाग
ग्रामीणों का सवाल है कि जब हरिद्वार जैसे धार्मिक और औद्योगिक जिले में अन्य सड़कों की समय-समय पर मरम्मत होती है, तो आखिर इस महत्वपूर्ण मार्ग को उपेक्षित क्यों रखा गया है? क्या यह क्षेत्र केवल चुनावों के वक्त वादे करने के लिए ही याद किया जाता है?
लोगों का कहना है कि सड़क की मरम्मत पर फूटी कौड़ी खर्च न करना कहीं भ्रष्टाचार और धन के दुरुपयोग की ओर तो इशारा नहीं करता?
नतीजा – हादसे से पहले उठे कदम
स्पष्ट है कि बहादराबाद क्षेत्र की यह सड़क कार्यवाहक विभाग की लापरवाही का जीता-जागता उदाहरण है। यदि समय रहते सुधार नहीं हुआ तो यह मार्ग किसी बड़े हादसे का कारण बन सकता है।
स्थानीय जनता की यही गुहार है – “सड़क की तत्काल मरम्मत कराई जाए और कार्यवाहक विभाग को जवाबदेह ठहराया जाए। हादसे से पहले प्रशासन और विभाग को जागना ही होगा, वरना जनता की मुश्किलें और बढ़ जाएंगी।”
डीएम मयूर दीक्षित अलर्ट मोड पर
हालांकि, डीएम हरिद्वार मयूर दीक्षित की ओर से जिले भर के अधिकारियों को सड़कों, स्वास्थ्य और अन्य बुनियादी व्यवस्थाओं को लेकर अलर्ट मोड पर रहने और आवश्यकतानुसार विशेष निर्देश जारी किए गए हैं। जिलाधिकारी ने साफ कहा है कि जनता की समस्याओं के त्वरित समाधान के लिए संबंधित विभागों को जवाबदेह रहना होगा।