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कैंसर से लड़ने के लिए जागरूकता ही है पहला हथियार 40वीं वाहिनी पीएसी हरिद्वार में हुआ स्वास्थ्यप्रद सत्र का आयोजन कैलाश ओमेगा कैंसर अस्पताल देहरादून के विशेषज्ञों ने दिए जीवनरक्षक सुझाव

इन्तजार रजा हरिद्वार-कैंसर से लड़ने के लिए जागरूकता ही है पहला हथियार

40वीं वाहिनी पीएसी हरिद्वार में हुआ स्वास्थ्यप्रद सत्र का आयोजन

कैलाश ओमेगा कैंसर अस्पताल देहरादून के विशेषज्ञों ने दिए जीवनरक्षक सुझाव

हरिद्वार, 30 अप्रैल 2025
40वीं वाहिनी पीएसी, हरिद्वार में कैंसर जैसे गंभीर और घातक रोग के प्रति जागरूकता बढ़ाने हेतु एक महत्वपूर्ण सत्र का आयोजन किया गया। यह सत्र सेनानायक महोदया श्रीमती तृप्ति भट्ट, IPS की अध्यक्षता में वाहिनी सम्मेलन कक्ष में संपन्न हुआ। कार्यक्रम का आयोजन कैलाश ओमेगा कैंसर अस्पताल, देहरादून के सहयोग से किया गया, जिसमें संस्थान के विशेषज्ञ डॉक्टरों और स्वास्थ्य सलाहकारों ने भाग लिया।

कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य वाहिनी के अधिकारियों और कार्मिकों को कैंसर के प्रारंभिक लक्षणों, बचाव के तरीकों, तथा आधुनिक चिकित्सा पद्धतियों के प्रति सजग करना रहा। इस सत्र ने यह संदेश दिया कि समय पर पहचान और सही इलाज से कैंसर को हराया जा सकता है।

विशेषज्ञों ने साझा की अहम जानकारी

इस सत्र में डॉ. सौरभ बंसल ने एक विस्तृत और सूचनात्मक प्रस्तुति के माध्यम से कैंसर से जुड़ी विभिन्न महत्वपूर्ण जानकारियां दीं। उन्होंने बताया कि कैंसर के लक्षण अक्सर शुरुआत में सामान्य प्रतीत होते हैं — जैसे लगातार खांसी, शरीर के किसी भाग में गांठ, अचानक वजन घटना, या थकान महसूस होना — लेकिन इन संकेतों को नज़रअंदाज़ करना घातक हो सकता है।

डॉ. बंसल ने बताया, “कैंसर का जल्दी पता चलना ही उसका सबसे सशक्त इलाज है। यदि शुरुआती चरण में इसकी पहचान हो जाए तो उपचार अधिक प्रभावी और सफल होता है।” उन्होंने धूम्रपान, तम्बाकू सेवन, अनियमित जीवनशैली और प्रदूषण को कैंसर के प्रमुख कारणों में गिना।

इसके अतिरिक्त उन्होंने यह भी समझाया कि कैसे आज की नवीनतम तकनीकों — जैसे इम्यूनोथेरेपी, टारगेटेड थैरेपी और मिनिमली इनवेसिव सर्जरी — ने कैंसर के इलाज को अधिक सहज और कारगर बना दिया है।

उपस्थिति रही उत्साहजनक, चर्चा रही प्रभावी

कार्यक्रम में डॉ. सौरभ बंसल के साथ श्री विजेन्द्र कंडारी, श्री अंकुश तथा अन्य विशेषज्ञ भी उपस्थित रहे जिन्होंने प्रश्नोत्तरी सत्र के माध्यम से कार्मिकों की जिज्ञासाओं का समाधान किया। कार्मिकों ने कैंसर से जुड़ी विभिन्न भ्रांतियों पर सवाल पूछे — जैसे कि क्या सभी ट्यूमर कैंसर होते हैं, क्या कैंसर संक्रामक होता है, और कैंसर से बचाव के घरेलू उपाय क्या हैं। विशेषज्ञों ने सभी प्रश्नों का तथ्यात्मक और सरल भाषा में उत्तर दिया।

वाहिनी के लगभग सभी अधिकारी एवं जवान इस सत्र में उपस्थित रहे और उन्होंने पूरे मनोयोग से इसे सुना। कुछ कार्मिकों ने व्यक्तिगत रूप से अपने अनुभव भी साझा किए और इस सत्र को ‘आंखें खोलने वाला’ बताया।

सेनानायक तृप्ति भट्ट ने किया विशेषज्ञों का आभार प्रकट

सत्र के समापन पर सेनानायक महोदया श्रीमती तृप्ति भट्ट, IPS ने कैलाश ओमेगा कैंसर अस्पताल की टीम का धन्यवाद ज्ञापित किया और कहा, “हमारे कार्मिक दिन-रात ड्यूटी में व्यस्त रहते हैं। ऐसे में उन्हें स्वास्थ्य संबंधी जानकारी समय पर मिलना अत्यंत आवश्यक है। यह सत्र केवल जानकारी नहीं, बल्कि जीवन रक्षक भी है।”

उन्होंने आगे यह भी कहा कि वाहिनी भविष्य में भी इस प्रकार के स्वास्थ्य जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन करती रहेगी ताकि कार्मिकों और उनके परिवारों का स्वास्थ्य सुदृढ़ बना रहे।

जानकारी ही है बचाव का सबसे बड़ा अस्त्र

कैंसर जैसे रोग से लड़ने में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है — समय पर जागरूकता। 40वीं वाहिनी पीएसी द्वारा आयोजित यह कार्यक्रम न केवल ज्ञानवर्धक रहा बल्कि इसमें उपस्थित सभी अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए एक प्रेरणा भी बना।

एक स्वस्थ और जागरूक समाज के निर्माण की दिशा में उठाया गया यह कदम वास्तव में सराहनीय है।

 

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