हर सोमवार हरिद्वार DM से मिलें सीधे: जनसुनवाई में मौके पर होगा समाधान, भ्रष्टाचार व लापरवाही पर कसेंगे शिकंजा, फील्ड अफसरों की कार्यप्रणाली भी रहेगी निगरानी में, डीएम खुद करेंगे समाधान की निगरानी, अफसरों की जवाबदेही तय जन सहभागिता से सुशासन की दिशा में हरिद्वार प्रशासन का बड़ा कदम

इन्तजार रजा हरिद्वार – हर सोमवार हरिद्वार DM से मिलें सीधे: जनसुनवाई में मौके पर होगा समाधान,
भ्रष्टाचार व लापरवाही पर कसेंगे शिकंजा, फील्ड अफसरों की कार्यप्रणाली भी रहेगी निगरानी में,
डीएम खुद करेंगे समाधान की निगरानी, अफसरों की जवाबदेही तय
जन सहभागिता से सुशासन की दिशा में हरिद्वार प्रशासन का बड़ा कदम
हरिद्वार, 11 जून 2025
हरिद्वार प्रशासन ने आम जनता की समस्याओं के सीधे समाधान और प्रशासनिक पारदर्शिता को नया आयाम देने की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने बुधवार को ऐलान किया कि अब हर सोमवार को सुबह 10 बजे से जिला कार्यालय में जनसुनवाई की जाएगी, जिसमें वह स्वयं उपस्थित रहकर आम नागरिकों की शिकायतें सुनेंगे और उनका तत्काल समाधान सुनिश्चित करेंगे।
जनसुनवाई में रहेंगे सभी अधिकारी, नहीं चलेगा बहाना
डीएम दीक्षित ने स्पष्ट किया कि इस जनसुनवाई को औपचारिकता के रूप में नहीं बल्कि एक प्रतिबद्धता और जवाबदेही की प्रक्रिया के रूप में देखा जाएगा। उन्होंने निर्देश दिए हैं कि इस दौरान जनपद के सभी कार्यालयाध्यक्ष एवं जिला स्तरीय अधिकारी अनिवार्य रूप से उपस्थित रहेंगे और किसी भी कर्मचारी या अधिकारी को बिना पूर्व अनुमति के अनुपस्थित रहने की छूट नहीं दी जाएगी। उन्होंने कहा कि जनसुनवाई में किसी अधीनस्थ को भेजने का भी कोई औचित्य नहीं है।
“जनसुनवाई को गंभीरता से लें। यह सिर्फ शिकायत सुनने का मंच नहीं, बल्कि फील्ड में आपकी कार्यशैली और संवेदनशीलता का मूल्यांकन भी होगा,” – मयूर दीक्षित, जिलाधिकारी
फील्ड में दिखेगा असर, सुशासन को मिलेगा बल
जिलाधिकारी ने इस नई पहल के पीछे प्रशासन की सोच को स्पष्ट करते हुए बताया कि भ्रष्टाचार, लापरवाही और जनता की उपेक्षा पर लगाम कसने के लिए यह जनसुनवाई मंच प्रभावी सिद्ध होगी। इसके जरिए यह आकलन किया जा सकेगा कि किस अधिकारी या कर्मचारी की कार्यप्रणाली जनहित में है और कौन महज़ खानापूर्ति कर रहा है।
उन्होंने कहा कि सभी फील्ड अधिकारी अपने क्षेत्रों में जनसमस्याओं को सुनें और मौके पर समाधान करें, ताकि लोगों को मुख्यालय तक आने की आवश्यकता न पड़े। “सरकार जनता के द्वार की परिकल्पना तभी साकार होगी जब अफसर खुद गाँव-गाँव जाकर जनता से जुड़ें,” – यह बात जिलाधिकारी ने सख़्त लहजे में दोहराई।
तहसील दिवस से अलग व्यवस्था, सोमवार को ही होगी जनसुनवाई
इस नई जनसुनवाई प्रक्रिया को तहसील दिवस से अलग बताया गया है। जिलाधिकारी ने कहा कि हर मंगलवार को पहले से तहसील दिवस आयोजित होते हैं, इसलिए सोमवार को यह विशेष जनसुनवाई की व्यवस्था लागू की गई है। यदि किसी सोमवार को सार्वजनिक अवकाश पड़ता है तो अगला सोमवार जनसुनवाई का दिन माना जाएगा।
इस साप्ताहिक प्रक्रिया को न सिर्फ शिकायत समाधान का मंच बनाया जाएगा बल्कि प्रशासनिक सुधार, नीति निर्माण और योजनाओं की जमीनी समीक्षा का आधार भी माना जाएगा।
जनता को मिलेगा त्वरित समाधान और सम्मान
डीएम दीक्षित ने यह भी जोड़ा कि ज़िले के किसी भी कोने से कोई भी व्यक्ति सोमवार सुबह 10 बजे सीधे जिला कार्यालय पहुंचकर अपनी समस्या रख सकता है। यहाँ संबंधित विभागों के अधिकारी तत्काल सुनवाई करेंगे और जरूरत पड़ी तो मौके पर ही कार्रवाई की जाएगी। इससे लोगों को बार-बार कार्यालयों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे और प्रशासन की जवाबदेही तय होगी।
“हर फरियादी को यह विश्वास होना चाहिए कि उसकी बात सुनी जाएगी और समाधान मिलेगा, अब ज़िला कार्यालय में समस्या रखने का मतलब समाधान पाना होगा, टालमटोल नहीं,” – डीएम मयूर दीक्षित
भ्रष्टाचार और लापरवाही की शिकायतों पर होगी विशेष कार्रवाई
प्रेस वार्ता के दौरान डीएम ने यह भी कहा कि जनसुनवाई में भ्रष्टाचार, घूसखोरी, लापरवाही, फर्जीवाड़े या कार्य में अनावश्यक देरी की शिकायतों पर विशेष रूप से ध्यान दिया जाएगा। यदि कोई शिकायत प्रारंभिक रूप से सत्य पाई जाती है, तो संबंधित अधिकारी या कर्मचारी के विरुद्ध तत्काल जांच और कार्रवाई की जाएगी।
इससे अफसरों और कार्मिकों में जवाबदेही का भाव बढ़ेगा और सुशासन की स्थापना का रास्ता प्रशस्त होगा।
जन योजनाओं का अद्यतन प्रस्तुतिकरण अनिवार्य
डीएम ने निर्देश दिए हैं कि हर सोमवार को सभी विभागीय अधिकारी अपने-अपने विभाग की योजनाओं, प्रगति रिपोर्ट और कार्यशैली की अद्यतन जानकारी के साथ उपस्थित हों। उन्होंने कहा कि केवल बैठकर सुनना नहीं, बल्कि तथ्यों, आंकड़ों और योजनाओं की पारदर्शिता के साथ समाधान सुनिश्चित करना ही जनसुनवाई का उद्देश्य होगा।
जनसुनवाई को मिले सार्वजनिक समर्थन
प्रशासन ने जनसामान्य से अपील की है कि वे अपनी समस्याओं को लेकर न केवल जनसुनवाई में आएं, बल्कि संबंधित दस्तावेज़ों और तथ्यों के साथ आवेदन प्रस्तुत करें, जिससे समाधान प्रक्रिया में तेजी आ सके। इसके लिए जिला कार्यालय में विशेष रूप से सहायता डेस्क की भी व्यवस्था की जा रही है।
📢 संक्षिप्त में – जनसुनवाई योजना की मुख्य बातें:
बिंदु | विवरण |
---|---|
🔹 आयोजन का दिन | हर सोमवार |
🔹 समय | प्रातः 10:00 बजे से |
🔹 स्थान | जिलाधिकारी कार्यालय, हरिद्वार |
🔹 कौन उपस्थित होंगे | डीएम स्वयं, सभी जिला स्तरीय अधिकारी, कार्यालयाध्यक्ष |
🔹 समाधान प्रक्रिया | मौके पर निस्तारण की प्राथमिकता |
🔹 अनुपस्थिति | पूर्व अनुमति के बिना संभव नहीं |
🔹 अवकाश पर क्या | अगले सोमवार को सुनवाई |
🔹 उद्देश्य | भ्रष्टाचार पर लगाम, जवाबदेही, सुशासन |
✍️ जिलाधिकारी हरिद्वार मयूर दीक्षित की यह पहल निश्चित ही हरिद्वार प्रशासन को जवाबदेह, पारदर्शी और जनोन्मुखी बनाने की दिशा में मील का पत्थर सिद्ध हो सकती है। यदि इसे ईमानदारी से लागू किया गया तो न केवल जनता की शिकायतों का समयबद्ध निस्तारण संभव होगा बल्कि अफसरशाही में व्याप्त शिथिलता, उदासीनता और भ्रष्टाचार पर भी करारी चोट पड़ेगी।
Daily Live Uttarakhand | संवाददाता – इन्तजार रजा, हरिद्वार