भारी बारिश के कारण जलस्तर नियंत्रित करने हेतु स्पिलवे गेट से छोड़ा जाएगा अतिरिक्त पानी,, कोटेश्वर बाँध से लगातार बढ़ रहा जलप्रवाह,, टिहरी, पौड़ी, देहरादून और हरिद्वार जिलों के प्रशासन को सतर्क रहने के निर्देश

इन्तजार रजा हरिद्वार- भारी बारिश के कारण जलस्तर नियंत्रित करने हेतु स्पिलवे गेट से छोड़ा जाएगा अतिरिक्त पानी,,
कोटेश्वर बाँध से लगातार बढ़ रहा जलप्रवाह,,
टिहरी, पौड़ी, देहरादून और हरिद्वार जिलों के प्रशासन को सतर्क रहने के निर्देश
देहरादून, 03 सितंबर 2025
ऊपरी क्षेत्रों में लगातार हो रही भारी बारिश का सीधा असर टिहरी जनपद स्थित कोटेश्वर बाँध पर दिखाई देने लगा है। जलाशय स्तर में तेजी से हो रही वृद्धि को नियंत्रित करने के लिए टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड द्वारा नियंत्रित ढंग से जल प्रवाह छोड़ा जा रहा है। अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि यह कार्रवाई सुरक्षा की दृष्टि से की जा रही है और सभी संबंधित जिलों को पहले ही सतर्क कर दिया गया है।
वर्तमान प्रवाह और आगामी चरण
अभी तक कोटेश्वर बाँध पावर हाउस से 666 क्यूमेक्स पानी छोड़ा जा रहा था। जलस्तर बढ़ने के कारण अतिरिक्त 215 क्यूमेक्स पानी स्पिलवे गेट से छोड़ा गया, जिससे कुल प्रवाह बढ़कर 881 क्यूमेक्स तक पहुँच गया है।
आज शाम 08:00 बजे से स्पिलवे गेट से और 100 क्यूमेक्स पानी छोड़े जाने का प्रस्ताव है, जिसके बाद कुल प्रवाह लगभग 1000 क्यूमेक्स हो जाएगा। इसके साथ ही, रात 10 बजे के बाद अतिरिक्त 130 क्यूमेक्स पानी छोड़ा जाएगा, जिससे कुल प्रवाह बढ़कर लगभग 1130 क्यूमेक्स तक पहुँच जाएगा।
जिलों को सतर्क किया गया
कोटेश्वर बाँध परियोजना की ओर से जिलाधिकारी टिहरी, पौड़ी, देहरादून और हरिद्वार के साथ-साथ जिला आपदा प्रबंधन अधिकारियों को भी इस संबंध में औपचारिक सूचना भेज दी गई है। प्रशासन को निर्देशित किया गया है कि नदी किनारे बसे लोगों को सतर्क किया जाए और स्थिति पर निरंतर नजर रखी जाए।
टीएचडीसी प्रबंधन ने स्पष्ट किया है कि सभी कदम नियंत्रित ढंग से उठाए जा रहे हैं और किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए पूरी व्यवस्था तैयार है।
स्थानीय स्तर पर सतर्कता आवश्यक
विशेषज्ञों का कहना है कि इस समय गंगा नदी और इसकी सहायक नदियों के किनारे रहने वाले लोगों को अधिक सतर्क रहने की आवश्यकता है। प्रशासन द्वारा मुनादी और चेतावनी संदेशों के माध्यम से ग्रामीणों को सूचित करने का कार्य शुरू कर दिया गया है।
हरिद्वार और ऋषिकेश जैसे निचले इलाकों में प्रवाह का असर देर रात तक दिखाई दे सकता है। जिला प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि लोग अनावश्यक रूप से नदी किनारों पर न जाएँ और किसी भी स्थिति में प्रशासनिक निर्देशों का पालन करें।
सुरक्षा सर्वोपरि
टीएचडीसी की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि बाँध और जलाशय की सुरक्षा प्राथमिकता है। जलस्तर का हर स्तर पर वैज्ञानिक आकलन किया जा रहा है। मौसम विभाग द्वारा ऊपरी इलाकों में और बारिश की संभावना जताई गई है, ऐसे में बाँध प्रबंधन पहले से ही सुरक्षा उपाय लागू कर रहा है।
👉 यह रिपोर्ट न केवल बाँध से छोड़े गए पानी की स्थिति को दर्शाती है, बल्कि जनता और प्रशासन दोनों को आगाह भी करती है कि सतर्कता ही सुरक्षा का सबसे बड़ा साधन है।